नावकोठी (बेगूसराय):- डॉ रोशन कुमार ने जाति जनगणना करने की मांग की।

नावकोठी (बेगूसराय):- डॉ रोशन कुमार ने जाति जनगणना करने की मांग की।




भारत के संविधान ने सभी नागरिकों को समानता का अधिकार दिया है। प्रत्येक 10 वर्षों में जनगणना होती है। अभी जनगणना होना बाकी है। कई राजनीतिक दल की मांग है की जनगणना के साथ जाति गणना भी होनी चाहिए, ताकि भारत के विभिन्न जातियों की जनसंख्या मालूम हो सके और उसी के अनुरूप सभी को सरकारी सुविधा संख्या के अनुपात में मिल सके।जातीय गणना नहीं होने के कारण जन धन से मजबूत जातियां सभी सरकारी सुविधाओं को गटक जाते हैं। राजनीति में भी कम प्रतिशत वाले लोग अपनी पैठ बना कर अपनी विशेष जाति के हित में कार्य करते हैं। उनके बने जनप्रतिनिधि संख्या में अधिक रहने के बावजूद भी उनकी अनदेखी करते हैं। अभी केंद्र की बीजेपी सरकार राजनीतिक कारणों से जातीय जनगणना नहीं कराना चाहते हैं यह दुखद है।  डॉ राजेश कुमार रोशन जिला अध्यक्ष वैश्य महासम्मेलन तथा प्रधान महासचिव प्रदेश इकाई आइका विहार ने कहा कि मैं एनडीए सरकार के घटक दल जनता दल यू के सीएम नीतीश कुमार की प्रशंसा करना चाहता हूं  जिन्होंने केंद्रीय कार्यकारिणी की बैठक में जातीय जनगणना कराने का प्रस्ताव पास किया है।जातीय जनगणना होने से सभी जातियों को राजनीतिक प्रतिनिधित्व मिलेगा और अपने-अपने जातियों की समस्याओं को सदन के पटल में रखकर समाधान की बात होगी। साथ ही साथ जो जाति मुख्यधारा में नहीं हैं उन्हें इनका लाभ मिलेगा! अंतर्राष्ट्रीय वैश्य महासम्मेलन बेगूसराय जिला का समाज का यह नारा कि जिसकी जितनी आबादी उसकी उतनी भागीदारी। महागठबंधन के सभी राजनीतिक दल के साथ-साथ विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव जी को भी हम प्रशंसा करते हैं कि उन्होंने भी जातीय जनगणना कराने के बात की है।अतः अंतराष्ट्रीय वैश्य महासम्मेलन बेगूसराय जिला इकाई एवं प्रदेश इकाई आइका बिहार जनगणना की मांग करती है एवं जातीय जनगणना भी होनी चाहिए।

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